उज्जैन। प्रस्तावित केंद्रीय बजट में लघु एवं मध्यम वर्गों के लिए पर्याप्त सुनियोजित परिधान किए गए हैं। लघु व सूक्ष्म इकाइयों को निर्यात संबंधी अनेक छूट प्रदान की गई है। आत्म निर्भर भारत एवं अमृत काल के इस दौर में सभी कारकों को अपनी उत्पादन क्षमता का पूर्ण दोहन करना होगा। छोटे शहरों के युवाओं को कौशल विकास एवं इंडस्ट्री 4.0 की सुविधाओं से इस नवीन बजट के उद्देश्य पूर्ण हो सकते हैं।
यह उद्गार विक्रम वि.वि. के पूर्व छात्र अनुभव जैन, लघु उद्योग भारती उज्जैन इकाई के कोषप्रमुख, मयंक टेक्सटाइल समूह के कार्यकारी ने विशिष्ट वक्त के रूप में व्यक्त किए।
इसी कार्यक्रम में विशेष रूप से आमंत्रित आर.आर. अगरबत्ती समूह इंदौर के युवा उद्यमी सिद्धांत देव ने जीएसटी कर प्रणाली एवं बजट की बारीकियों को उदाहरण सहित प्रस्तुत करते हुए विद्यार्थियों से कठिन परिश्रम के साथ-साथ आर्थिक वातावरण के मानकों को समझने का आवाहन किया। इसी कार्यक्रम में मीडिया जगत का पक्ष रखते हुए विपणन प्रभारी हरीश जोशी ने भी अपने विशिष्ट अंदाज में विद्यार्थियों को अभिप्रेरित किया कि वे समूहवाद, क्षेत्रवाद, उद्योग वित्तीय जगत की सफलताओं का गहन अध्ययन करें एवं इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के साथ-साथ प्रिंट मीडिया की सूचनाओं का संकलन विकसित करने की आदत को अपनाएं, ताकि बजटों का तुलनात्मक अध्ययन किया जा सके।
रोचक परिसंवाद के अंतिम वक्ता के रूप में विक्रम विश्वविद्यालय के पूर्व प्रतिभावान छात्र पूर्व बैंक उच्चाधिकारी एवं भारतीय स्कंध बाजार के विशेषज्ञ जयकुमार भट्ट ने बजट के स्टाक मार्केट पर पड़ने वाले सकारात्मक व नकारात्मक प्रभावों एवं समता शोध की प्रवृत्तियों को रेखांकित किया। आपने एमबीए के विद्यार्थियों से अपेक्षा की कि अभी से वे जीवन में बचत की प्रवृत्तियों को प्रोत्साहन दे एवं अपनी बजटीय गहन समझ को विकसित करें। संचालन सुश्री रिमझिम दुबे, विशाल मालवीय द्वारा किया गया। उद्योग जगत के अतिथियों का स्वागत एवं कार्यक्रम रूपरेखा, उपादेयता, अतिथि परिचय पं. जवाहरलाल नेहरू व्यवसाय प्रबंध संस्थान के निदेशक डॉ.धर्मेंद्र मेहता द्वारा प्रस्तुत किया गया। परिसंवाद संक्षेपिका एवं आभार प्रदर्शन, अनुभवी भटनागर विनीता चौधरी, पायल कुशवाहा, महक मंसूरी द्वारा प्रस्तुत की गई।
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