शिक्षा इंसान ही नहीं स्वयं ईश्वर को भी संपूर्णता प्रदान करने वाला वह अस्त्र है जिसने विद्या ग्रहण करने आए बालक को संसार को गीता का ज्ञान देने वाले श्रीकृष्ण में बदल दिया - कुलपति प्रो अखिलेश कुमार पाण्डेय
विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन के कुलपति प्रोफेसर अखिलेश कुमार पाण्डेय ने रतलाम के श्री साईं कॉलेज ऑफ टेक्नोलॉजी और शासकीय कन्या स्नातकोत्तर महाविद्यालय पहुंच कर विद्यार्थियों के साथ संवाद किया एवं उसकी समस्याओं का निराकरण किया
रतलाम/उज्जैन । 7 जून 2023 को विक्रम विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर अखिलेश कुमार पाण्डेय ने रतलाम के श्री साई कॉलेज ऑफ टेक्नोलॉजी और शासकीय कन्या स्नातकोत्तर महाविद्यालय पहुंच कर विद्यार्थियों के साथ संवाद किया। उन्होंने विद्यार्थियों की समस्याओं का निराकरण किया।
विक्रम विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर अखिलेश कुमार पाण्डेय विद्यार्थियों से सीधे संपर्क में रहते हैं और उनकी समस्याओं का त्वरित समाधान करते हैं। इसी शृंखला में कुलपति जी बुधवार को रतलाम पहुंचे, जहां उन्होंने श्री साईं टेक्नोलॉजी कॉलेज और शासकीय कन्या स्नातकोत्तर महाविद्यालय के विद्यार्थियों से संवाद किया। विद्यार्थियों से सीधा संवाद स्थापित करते हुए कुलपति जी ने उनसे पूछा कि क्या विद्यार्थी नई शिक्षा नीति से परिचित हैं और क्या वे उसके बारे में अच्छे से जानते हैं।
विद्यार्थियों के अलग अलग जवाब प्राप्त करने के बाद उन्हें विस्तृत रूप से इसके बारे में समझाते हुए माननीय कुलपति जी ने कहा कि नई शिक्षा नीति का परम उद्देश्य भारतीय ज्ञान परंपरा को विद्यार्थियों तक पहुंचाना और भौतिक संपदा को संरक्षित रखना है। अपनी बात को बढ़ाते हुए उन्होंने कहा कि शिक्षा हर देश के लिए बहुत महत्वपूर्ण होती है। शिक्षा के माध्यम से ही किसी देश की संस्कृति को एक पीढ़ी से दूसरी पीढ़ी तक स्थानांतरित किया जा सकता है। भारत की शिक्षाप्रणाली गुरुकुल आधारित रही है और भारत में नालंदा, तक्षशिला जैसे कई विश्व प्रसिद्ध विश्वविद्यालय रहे हैं। शिक्षा इंसान ही नही स्वयं ईश्वर को भी संपूर्णता प्रदान करने वाला वह अस्त्र है जिसने विद्या ग्रहण करने आए बालक कृष्ण को संसार को गीता का ज्ञान देने वाले श्री कृष्ण में बदल दिया।
उन्होंने नई शिक्षा नीति की बारीकियों को भी विद्यार्थियों तक विस्तार से पहुंचाया एवं विद्यार्थियों से विश्वविद्यालय को और बेहतर बनाने की दिशा में सुझाव मांगे।
इसके बाद माननीय कुलपति जी ने शासकीय कन्या स्नातकोत्तर महाविद्यालय में संचालित हो रही परीक्षाओं का निरीक्षण किया एवं संबंधित शिक्षकों से परीक्षा प्रणाली को और बेहतर बनाने की दिशा में चर्चा की।
इस अवसर पर विक्रम विश्वविद्यालय के कुलसचिव प्रोफेसर प्रशांत पुराणिक एवं कुलानुशासक शैलेंद्र कुमार शर्मा ने बताया कि कुलपति जी के इस कदम का स्वागत करते हुए विद्यार्थियों में नई शिक्षा नीति के बारे में जागरूकता फैलाने के लिए उनका धन्यवाद किया।
इस अवसर पर श्री साई कॉलेज ऑफ टेक्नोलॉजी के संचालक श्री विपिन छाबरा और शासकीय कन्या स्नातकोत्तर महाविद्यालय, रतलाम के प्राचार्य डॉ. आर के कटारे ने माननीय कुलपति जी का धन्यवाद ज्ञापित किया।
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