कृषि के विद्यार्थियों द्वारा कृषकों को कृषि के आधुनिक तरीके सिखाये जाएंगे - कुलपति प्रोफेसर अखिलेश कुमार पांडेय
उज्जैन। विक्रम विश्वविद्यालय की कृषि अध्ययनशाला के विद्यार्थियों द्वारा अपने प्रायोगिक कार्य में सीड बैंक का निर्माण और नए तकनीकों का उपयोग किया जाएगा। ये उद्गार विक्रम विश्वविद्यालय उज्जैन के कुलपति प्रो अखिलेश कुमार पांडेय ने 29 दिसम्बर, शुक्रवार को कृषि अध्ययनशाला की गतिविधियों का अवलोकन करते हुए विद्यार्थियों के समक्ष उद्बोधन में व्यक्त किए। उन्होंने कहा कि विद्यार्थी शीघ्र नवीन तकनीक कृषकों को सिखाएंगे। कुलपति प्रोफेसर पांडेय ने कृषि के विद्यार्थियों द्वारा निर्मित सीड बैंक का निरीक्षण किया।
गौरतलब है कि विश्वविद्यालय परिसर में अगल-अलग स्थानों पर आधुनिक तकनीकों का उपयोग कर अनाज और सब्जी की खेती की जा रही है। शुक्रवार को इन स्थानों का निरीक्षण करते हुए माननीय कुलपति जी ने बताया कि कृषि के विद्यार्थियों द्वारा सीड बैंक का निर्माण किया गया है, इसके अतिरिक्त विद्यार्थियों द्वारा नई एवं आधुनिक तकनीकों का उपयोग कर परिसर के विभिन्न हिस्सों में अनाज एवं सब्जी की खेती की गई है। विद्यार्थियों द्वारा शीघ्र ही इन तकनीकों का प्रशिक्षण भी कृषकों को दिया जाएगा। कृषि के विद्यार्थी की शिक्षा तभी सार्थक है जब उससे देश की कृषि का उत्थान हो सके।
इस अवसर पर कृषि अध्ययनशाला के विभागाध्यक्ष प्रोफेसर राजेश टेलर ने बताया कि कृषि के विद्यार्थी लर्न बायी अर्न स्कीम के तहत इन अनाज को बेच कर अपनी आय का स्त्रोत बनाएंगे। विक्रम विश्वविद्यालय के कुलानुशासक प्रोफेसर शैलेन्द्र कुमार शर्मा ने बताया कि विद्यार्थियों द्वारा यहां मुख्यतः गेंहू, चना, गोभी, टमाटर आदि सब्जियां उगाई जा रही हैं। आगे और भी सब्जियां आधुनिक तकनीकों का उपयोग करके उगाई जाएंगी। जिससे विद्यार्थियों की अतिरिक्त आमदनी हो सके। इस अवसर पर माननीय कुलपति जी के साथ प्रोफेसर एस के मिश्रा, डॉ संग्राम भूषण, डॉ रमण सोलंकी, डॉ गणपत अहिरवार आदि सहित संकाय सदस्य एवं विद्यार्थी उपस्थित थे।
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