दक्षिण पूर्व एशिया के द्वीप देश सिंगापुर से पधारे विक्रम विश्वविद्यालय उज्जैन के पूर्व छात्र सचिन दुबे का हिंदी दिवस समारोह में हुआ सम्मान
उज्जैन। हिंदी सभी भाषाओं की जननी है। प्रबंध संकाय के विद्यार्थियों को स्व-कौशल विकास के साथ-साथ नई वित्तीय बैकिंग प्रवृत्तियों से खुद को परिमार्जित करना चाहिए। वित्तीय सेवाओं के क्षेत्र में असीमित रोजगार अवसरों का लाभ उठाकर ही वे अपने अस्तित्व को बनाए रखने में सफल हो सकेंगे। यह विचार दक्षिण पूर्व एशिया के द्वीप देश सिंगापुर से आए पंडित जवाहरलाल नेहरू व्यवसाय प्रबंध संस्थान, विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन के तीन दशक पूर्व के छात्र और वर्तमान में जीई (जनरल इलेक्ट्रिक) में वरिष्ठ वित्तीय सेवा विशेषज्ञ, प्रबंध संचालक जीई एनर्जी फाइनेंशियल सर्विसेज, सिंगापुर, सचिन दुबे ने हिंदी दिवस समारोह में अपने अभिनंदन वक्तव्य में प्रकट किए।
इस अवसर पर पूर्व छात्र और युवा उद्यमी तरुण सूर्यवंशी तथा सुश्री प्रियल जैन ने भी अपने अनुभव साझा किए। सत्र के अंत में उपस्थित विद्यार्थियों रोहित भट्ट, युवराज सिंह, दीपांशु नागपाल, अजय मीणा, सुधांशु शर्मा, तनीषा खत्री और प्रिंसी जैन ने करियर और जीवनवृत्त संबंधी प्रश्न पूछे और अपनी जिज्ञासाओं का समाधान प्राप्त किया।
इस खूबसूरती से संजोए गए कार्यक्रम का संचालन संस्थान के निदेशक प्रो. डॉ. धर्मेंद्र मेहता ने किया। एलुम्नी एडवाइजर और संकाय सदस्य डॉ. नयनतारा डामोर ने आभार व्यक्त करते हुए संस्थान के प्रतिभाशाली पूर्व विद्यार्थी श्री सचिन, श्री तरुण और सुश्री प्रियल से सीएसआर सहयोग की अपेक्षाओं को पूरा करने का आव्हान किया।
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